John 18:28-38

पीलातुस के आघू म यीसू

(मत्ती 27:1-2, 11-14; मरकुस 15:1-5; लूका 23:1-5)

28तब यहूदीमन यीसू ला काइफा करा ले रोमी राजपाल के महल म ले गीन अऊ ओह बड़े बिहनियां के बेरा रिहिस। यहूदीमन खुद महल के भीतर नइं गीन ताकि ओमन असुध झन होवंय अऊ फसह के भोज खा सकंय
यहूदीमन के रिवाज के मुताबिक, यदि ओमन कोनो आनजात के घर म जाथें, त ओमन असुध हो जाथें।
29एकरसेति पीलातुस ह बाहिर ओमन करा आईस अऊ पुछिस, “ए मनखे के ऊपर तुमन का दोस लगाथव?”

30ओमन जबाब दीन, “यदि ए मनखे ह अपराधी नइं होतिस, त एला हमन तोर हांथ म नइं सऊंपतेन।”

31पीलातुस ह ओमन ला कहिस, “तुमन एला ले जावव अऊ अपन खुद के कानून के मुताबिक ओकर नियाय करव।”

यहूदीमन ओला कहिन, “हमन करा कोनो ला मिरतू दंड देय के अधिकार नइं ए।”
32एह एकरसेति होईस ताकि यीसू के ओ बचन ह पूरा होवय, जऊन ला यीसू ह इसारा म कहे रिहिस कि ओकर मिरतू कइसने होही।

33तब पीलातुस फेर महल भीतर गीस अऊ यीसू ला बलाके ओकर ले पुछिस, “का तेंह यहूदीमन के राजा अस?”

34यीसू ह जबाब देके कहिस, “का तेंह ए बात अपन कोति ले कहथस कि आने मन तोला ए बात मोर बारे म कहे हवंय?”

35पीलातुस ह जबाब दीस, “का तेंह सोचथस कि मेंह एक यहूदी अंव? तोर खुद के मनखे अऊ मुखिया पुरोहित मन तोला मोर हांथ म सऊंपे हवंय। तेंह का करे हस?”

36यीसू ह कहिस, “मोर राज ह ए संसार के नो हय। यदि मोर राज ह ए संसार के होतिस, त मोर सेवकमन लड़तिन अऊ मेंह यहूदीमन के हांथ म नइं सऊंपे जातेंव; पर मोर राज ह इहां के नो हय।”

37पीलातुस ह यीसू ला कहिस, “त का तेंह एक राजा अस?”

यीसू ह जबाब दीस, “तेंह सही कहथस कि मेंह एक राजा अंव। मेंह ए खातिर जनम लेंव अऊ ए खातिर संसार म आयेंव कि सत के गवाही देवंव। जऊन ह सत के तरफ हवय, ओह मोर बात ला सुनथे।”

38पीलातुस ह ओकर ले पुछिस, “का ह सत ए?” ए कहिके पीलातुस ह बाहिर यहूदीमन करा फेर गीस अऊ ओमन ला कहिस, “मेंह ओम कोनो दोस नइं पायेंव।
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